इंद्रदेव की बेरुखी -मानसून की बेवफाई से फसल बेकार,अन्नदाता परेशान

महराजगंज : खरीफ फसल के लिए पानी की भरपूर आवश्यकता होती है धान के बीज डालने से लेकर रोपाई तक पानी किसान अपने निजी साधनों से चलाता है, रोपाई के बाद किसान मानसून का इंतजार करता है, की वर्षा होंगी और मेरा फसल अच्छे पैदवार देंगे,

लेकिन इस बार मानसून एक महीने के देरी से आ रहा है जो इस समय किसानो की हालत ख़राब कर दिया है, किसान बेहाल अवस्था मे चिंतित दिख रहा है,
किसान दुनिया का वह मजबूर प्राणी है जिसका घर भले ही बरसात की चार बूंदो से टपकने लगे फिर भी वह चाहता है की बरसात हो क्योंकि उसके जीवन काल की सारी पूंजी फसल पर लगी है, अगर बरसात नहीं हुई तो वह बदहाल हो जायेगा,

महंगाई डायन डीजल खाय जात है
बरसात नहीं होने के कारण किसानो को निजी साधन से खेतो मे पानी डालना पड रहा है जो की डीजल अब तक के सबसे उच्चतम महंगाई पर है जो किसानो को बर्बाद करने मे कोई कसर नहीं छोड़ रहा
खेतो मे पड़ रही मोटी मोटी दरारो से साफ दिख रहा है की फसल पूर्ण रूप से सुख कर बर्वाद हो रही है,
किसान खून के आंसू रो रहा है फिर भी न बरसात हो रही न ही डीजल के दाम कम हो रहे,
भगवान इंद्र देव तो सुनते नहीं सरकार भी नहीं सुन रही..
सबसे बड़ा सवाल… कैसे होगा किसानो का आय दो गुना? यह
चिंता का विषय है।